लैलूंगा मांड प्रवाह:- माननीय प्रधान मंत्री मोदी जी खुद झाड़ू लेके साफ़ सफाई अभियान चलाते हैं और लैलूंगा स्वस्थ विभाग स्वच्छता अभियानों की धज्जियां उड़ाते हैं।मीडिया में खबर लगने के बाद अस्पताल में सफाई तो हुई, लेकिन कर्मियों ने सिर्फ नाम मात्र की लिपा-पोती की सफाई कर्मियों ने जो सफाई की, वह नाम मात्र की रही। इधर का कचरा उधर उठा कर रख दिया और SDM महोदय को साफ़ सफाई का ढोल बजा दिया |
हमारे संवादाता द्वारा जब डॉ. लाखनपटेल जी को कॉल किया गया उन्होंने हमेशा की तरह कॉल नहीं उठाया और जब हमारे संवादाता ने हॉस्पिटल जेक देखा तो पता चला की वो तोह हॉस्पिटल में उपस्थित ही नहीं हैं जब अर्मचारियों से पुचा तोह चौकाने वाले खुलासा हुआ की माननीय श्री श्री डॉ. महोदय तोह 12 बजे से पहले कभी अस्पताल आते ही नहीं |
एसडीएम के निर्देश का भी असर नहीं:
स्थिति यह है कि एसडीएम महोदय के स्पष्ट निर्देशों के बावजूद भी अस्पताल के सफाई कर्मियों ने अपनी जिम्मेदारियों को ठीक से नहीं निभाया। अस्पताल की हालत अब भी चिंताजनक है, और गंदगी का अंबार लगा हुआ है। यह अस्पताल, जहां लोग अपने इलाज के लिए आते हैं, ये हालत है की यहाँ लोग इलाज करने आते हैं की बीमार पड़ने |
स्टाफ नर्स की परेशानी :
मातृ एवं शिशु भवन की स्टाफ नर्स से जब इस स्थिति के बारे में पूछा गया, तो उन्होंने बताया कि वह अकेले ही पूरे अस्पताल के मरीजों की देखरेख कर रही हैं। बाकी डॉक्टर स्वास्थ्य केंद्र में ही रहते हैं और वहां कार्य संभालते हैं। नर्स का कहना है कि शिशु वार्ड में कोई बच्चा नहीं है, लेकिन शिशु वार्ड बाथरूम अब अस्पताल के अन्य मरीज सार्वजनिक रूप से इस्तेमाल कर रहे हैं, जिससे बाथरूम गंदगी से भर चुका है सीवर जाम होने के कारण बाथरूम में पेशाब बाहर तक फैल रहा है। साथ ही, अस्पताल में पानी की भारी कमी है, जिससे पेशाब के बाद पानी डालने की व्यवस्था भी नहीं हो पाती है। यह स्थिति बेहद गंभीर है और अस्पताल प्रशासन को तत्काल इसे सुधारने की आवश्यकता है।
मुध्यमंत्री विशुनु देव साय हर कथे काम होही सांये -सांये औउ लैलूंगा स्वस्थ विभग के साफ़ सफाई को बाय बाय
हमारी मीडिया रिपोर्ट ने सफाई का काम शुरू जरूर कराया, लेकिन अस्पताल की स्थिति में असल सुधार अब भी अधूरा है। स्वास्थ्य विभाग के कर्मियों की लापरवाही और पानी की किल्लत ने अस्पताल को बीमारियों का केंद्र बना दिया है, और प्रशासन को इस पर तुरंत ध्यान देने की आवश्यकता है।